Indian National Science Academy
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इन्सा के नियम

हस्ताक्षर की जाने वाली प्रतिज्ञा
12.
अकादमी का अध्येता चुना गया हर व्यक्ति, अपने प्रवेश से पहले, निम्नलिखित शब्दों में प्रतिज्ञा पर हस्ताक्षर करेगा/करेगी
भारतीय राष्ट्रीय विज्ञान अकादमी के अध्येता के रुप में मैं वैज्ञानिक आचार संहिता का पालन करुंगा/गी, शोध तथा प्रकाशनों में सत्यनिष्ठा बनाए रखूँगा/गी, विज्ञान के हित तथा अकादमी की प्रतिष्ठा की रक्षा करुँगा/गी, अपने निर्णय में निष्पक्ष रहने का प्रयास करुँगा/गी और मानव मूल्यों तथा विचारों की समृद्धि के लिए यत्न करुँगा/गी।
विदेशी अध्येताओं का चुनाव
13.
विदेशी अध्येताओं के चुनाव की प्रक्रिया वही होगी जो समय समय पर परिषद् द्वारा बनाए गए विनियमों में निर्धारित है किंतु उनकी संख्या 150 तक सीमित रहेगी और हर वर्ष अधिकतम छह का चुनाव किया जाएगा। विदेशी अध्येताओं से कोई प्रवेश शुल्क या अध्येतावृत्ति अभिदान नहीं लिया जाएगा। .
अध्येताओं के अधिकार और विशेषाधिकार
14.
अध्येता निम्नलिखित अधिकारों और विशेषाधिकारों के हक़दार होंगे:-.

सभी साधारण बैठकों में भाग लेना और मत देना।.

अध्येतावृत्ति के लिए नामितियों को प्रस्तावित करना और उनकी संस्तुति करना।.

अकादमी के पुरस्कारों के लिए व्यक्तियों को प्रस्तावित करना।.

अकादमी के पुस्तकालय में निजी पहुँच प्राप्त करना।.

परिषद द्वारा निर्धारित किए गए विनियमों के अनुसार पुस्तकालय से पुस्तकें, प्लेटें, आरेख, पांडुलिपियाँ आदि लेना।

15.
भारत की राज्यक्षेत्रीय सीमाओं से बाहर रहने वाले अध्येता पूर्ववर्ती नियम के खंड ( क ) , ( ख ) , ( ग ) , ( घ ) और (च) में निहित विशेषाधिकारों के और परिषद् द्वारा नियुक्त किसी भी समिति पर काम करने के हक़दार होंगे किन्तु उन्हें सिवाय उस समिति के मत देने का अधिकार नहीं होगा।
16.
विदेशी अध्येता नियम 14 के खंड ( क ), ( घ ) और ( च ) में निहित विशेषाधिकारों के और परिष्षद् द्वारा नियुक्त किसी भी समिति पर काम करने के हक़दार होंगे किन्तु उन्हें सिवाय उस समिति के मत देने का अधिकार नहीं होगा। अध्येतावृत्ति की समाप्ति
17.

कोई भी अध्येता उपाध्यक्ष ( अध्येतावृत्ति मामले ) को संबोधित एक पत्र द्वारा अपनी इच्छा व्यक्त करके अकादमी से अपना नाम वापस ले सकता है।

 
अध्येतावृत्ति की समाप्ति
18.
उपाध्यक्ष ( अध्येतावृत्ति मामले ) प्रेषक के अनुरोध पर नाम वापस लेने के पत्र को उसकी प्राप्ति के छह माह के भीतर रद्द कर सकता है और उसके बाद उसे अध्येतावृत्ति के सभी अधिकार फिर प्राप्त हो जाएँगे। परिषद् को, विशेष मामलों में, उपर्युक्त छह माह की सीमा में छूट देने का अधिकार होगा।
19.
कोई अध्येता जो अकादमी का अध्येता न रहे, चाहे स्वेच्छा से नाम वापस लेले या उसकी अध्येतावृत्ति ज़ब्त कर लिए जाने पर वह उस द्वारा अकादमी को देय राशियों ( यदि कोई हों ) के भुगतान के लिए उत्तरदायी बना रहेगा/गी और अकादमी से उस द्वारा उधार ली गई सभी पुस्तकें, सामग्री तथा अन्य संपत्ति ( यदि कोई हो ) उसे लौटानी होंगी और यदि वह गुम, क्षतिग्रस्त हो गई हो या न मिल रही हो तो पूरी क्षतिपूर्ति करेगा/गी।
20.

जिन अध्येताओं ने अकादमी से अपना नाम वापस ले लिया हो, वे नियम 6 के अनुसार पुनर्निर्वाचन के लिए पात्र होंगे। पुनर्निर्वाचित हो जाने पर उनसे केवल प्रवेश शुल्क लिया जाएगा।

21.
यदि अकादमी का कोई अध्येता जानबूझकर अकादमी या परिषद् के नियमों अथवा आदेशों की अवहेलना करे, या किसी साधारण बैठक में जानबूझकर किसी आदेश का उल्लंघन करे, या अनजाने में किसी आदेश की अवहेलना अथवा उल्लंघन हो जाने पर, अध्यक्ष द्वारा उसे चेतावनी दिए जाने के बाद भी अपनी बात पर अडिग रहे, या यदि किन्हीं अन्य कारणों से परिषद् को ऐसा लगे कि उस अध्येता का नाम सूची में नहीं रहना चाहिए तो उसे अकादमी से निकाला जा सकता है। जब कभी किसी अध्येता को अकादमी से निकालने के लिए ऊपर लिखे अनुसार कोई कारण दिखाई दे,यदि परिषद् यथोचित विचार-विमर्श के बाद मतदान द्वारा बहुमत से यह तय करे कि अकादमी को उस अध्येता को निकाल देने के लिए कहा जाए, तो अध्यक्ष, अकादमी की किसी साधारण बैठक में पीठ से परिषद् के उस निर्णय की घोषणा करेगा,और जिस बैठक में उक्त घोषणा की जाए उससे अगली बैठक में प्रस्ताव को मतदान के लिए रखा जाएगा। यदि उस साधारण बैठक में उपस्थित और मतदान करने वाले तीन-चौथाई अध्येता उस अध्येता को निकाल देने के पक्ष में मत दें, तो उसे अकादमी से निकाल दिया जाएगा।
22.

नियम 21 के अनुसार निकाला गया अध्येता, परिषद् के अनुमोदन के बिना, पुनर्नामांकन के लिए पात्र नहीं होगा।

23.

अकादमी के किसी अध्येता/विदेशी अध्येता की मृत्यु दर्ज की जाएगी और अकादमी की अगली साधारण बैठक में पीठ से घोषित की जाएगी।

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